कोर्ट जाने व आवेदन से नहीं दूर होगी शिक्षकों की समस्याएं, बड़े आंदोलन की है जरूरत, जाकेश साहू ने किया सावधान

रायपुर 21 सितंबर 2024। शिक्षकों के बीच इन दिनों शिक्षक एलबी संवर्ग की क्रमोन्नति का मुद्दा छाया हुआ है। सोना साहू नामक एक शिक्षिका को हाईकोर्ट के डबल बेंच ने क्रमोन्नति वेतनमान का आदेश दिया है। जिसके उपरांत प्रदेशभर के एलबी संवर्ग में इस बात की होड़ सी लगी हुई है कि सभी लोग विभिन्न ग्रुप में कोर्ट जाए और सोना साहू जैसे ही आडर कोर्ट से ले आए फिर क्रमोन्नति मिल जाएगी। उक्त मुद्दे पर कुछ संगठनों ने बकायदा सभी ब्लाकों और जिलों में विभागीय कार्यालयों में क्रमोन्नति वेतनमान हेतु आवेदन लगाने की बाते कही है। अनेक ग्रुप में बकायदा आवेदन का नमूना भी घूम रहा है।संबंधित मामले में अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए छत्तीसगढ़ सहायक शिक्षक फेडरेशन के संस्थापक एवं प्रधान पाठक मंच के प्रदेशाध्यक्ष जाकेश साहू ने प्रदेश के शिक्षको को ऐसे किसी भी अफवाह से बचने का सलाह दिया है जिसमे क्रमोन्नत वेतनमान मिलने की बाते कही जा रही है।

शिक्षक नेता जाकेश साहू ने बताया कि फिलहाल शिक्षक एलबी संवर्ग के शिक्षकों को राज्य सरकार द्वारा क्रमोन्नति वेतनमान देने का किसी भी प्रकार का कोई आदेश जारी नहीं किया गया है।
जहां तक न्यायालय का सवाल है तो न्यायालय में अनेक लोग आवेदन अथवा याचिका लगाते है और अनेकों बार न्यायालय द्वारा शिक्षको के पक्ष में आदेश भी जारी हो जाता है परंतु आज तक देखा यह गया है कि व्यक्तिगत मामलो में इसमें लाभ होता है न कि वृहत स्तर पर सामूहिक मामलो में।

शिक्षको के सामूहिक रूप से आर्थिक लाभ के मामलो में आज तक न्यायालय के किसी भी आदेश का सरकारी स्तर पर कोई लाभ वृहत रूप से शिक्षको को नहीं मिला है।
चूंकि यह मामला राज्य के नीति निर्देशक तत्वों के अंतर्गत आता है जिसमे राज्य सरकार अपने कर्मचारियों को क्या सुविधा देना चाहती है यह राज्य सरकार के ऊपर निर्भर करता है। कर्मचारी हित के सामूहिक मुद्दो पर कोर्ट के किसी ऐसे फैसले को राज्य सरकार मानने के लिए बाध्य नहीं है जिसमे सरकार को वृहत पैमाने पर धन की जरूरत पड़े।

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बीच में सुपर न्यू मेरी के पदों पर सहायक शिक्षको को पदोन्नति देने के मामले में न्यायालय ने आदेश दिया था जिसमे शासन स्तर पर अमल नहीं हुआ। पहले 2011 में क्रमोन्नति वेतनमान का आदेश हुआ और यह 2011 से 2013 तक मिला फिर 2013 में भूत लक्सी प्रभाव से बंद कर दिया गया।कुछ शिक्षक संगठनों के द्वारा आज की भांति पूर्व में भी अनेकों बार विभाग में कभी सांविलियन् के नाम पर तो कभी क्रमोन्नति के नाम पर सौ सौ रुपए फीस वसूली करके फार्म भरवाया गया जिसका कुछ नहीं हुआ।

जाकेश साहू ने प्रदेश के शिक्षको से अपील करते हुए कहा है कि वे किसी की भी बातों में या बहकावें में न आवे। ध्यान रहे कि सहायक शिक्षको की वेतन विसंगति, क्रमोन्नति, पुरानी पेंशन एवं प्रथम सेवा गणना करते हुए समस्त लाभ…. यह सब आंदोलन करने से मिलेगा न कि कोर्ट जाने या विभाग में कहीं भी फार्म भरने से। अतः शिक्षक साथी सावधान…..सावधान……

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