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डाक्टर करता था WhatsApp की DP में फर्जी फोटो लगाकर ठगी…..MD की फोटो लगाकर वाइस प्रेसीडेंट से ठगे थे 5.50 लाख रूपये….राजधानी पुलिस ने तमिलनाडू से दबोचा….

  • व्हाट्सएप के डी पी में एमडी की फोटो लगा वाइस प्रेसीडेंट को लगाया चूना
  • आरोपी अमेजन-ई-व्हाउचर के नाम से प्रार्थी से किया था ठगी।
  • आरोपी ने प्रार्थी से किया है 5,50,000/- रूपये की ठगी।
  • वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रायपुर के सतत् मार्गदर्शन में मिली टीम को सफलता।
  • अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अपराध रायपुर के नेतृत्व में गठित की गई विशेष टीम।
  • आरोपी मोहम्मद अरसाथ अब्दुल राशीद मूलतः है तमिलनाडू का निवासी।
  • आरोपी मोहम्मद अरसाथ अब्दुल राशीद चाईना से की थी MBBS. की पढ़ाई।
  • 1 मोबाईल फोन, 1 लैपटाॅप एवं 1 राउटर किया गया है जप्त।
  • आरोपी को तमिलनाडू से गिरफ्तार कर ट्रांजिट रिमाण्ड पर लाया गया है रायपुर।
  • पंडरी में अपराध क्रमांक 240/22 धारा 420 भादवि. का अपराध किया गया है पंजीबद्ध।

रायपुर 19 अगस्त 2022। WhatsApp की डीपी में फोटो चेंज कर ठगी की वारदात ने हर किसी को सकते में डाल रखा है। जज, अफसर, नेता शायद ही कोई है, जो इन शातिरों से बचा हो। बेखौफ और बेहद शातिराना तरीके से ये ठग पैसों की ठगी कर रहे हैं। राजधानी पुलिस ने ऐसी ही एक ठगी की वारदात में तमिलनाडू से एक डाक्टर को गिरफ्तार किया है। MBBS की पढ़ाई कर चुके इस युवक ने राजधानी के एक बड़ी कंपनी के MD की डीपी फोटो लगाकर वाइस प्रेसीडेंट से साढ़े पांच लाख रुपये की ठगी की थी।

दरअसल गोविंद कुमार अग्रवाल ने थाना पंडरी में रिपोर्ट दर्ज कराया कि वह ओपल बिल्डिंग अशोका रतन शंकर नगर रायपुर में रहता है तथा वंदना ग्लोबल लिमिटेड सिलतरा रायपुर में वाईस प्रेसिडेंट कार्पोरेट अफेयर एवं बिजनेस डेवलपमेंट के पद पर कार्यरत है। दिनांक 15.07.2022 को मोबाइल नंबर 9392313213 के अज्ञात धारक द्वारा कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर गोपाल प्रसाद अग्रवाल का व्हाटसऐप डी पी में फोटो डालकर प्रार्थी को कंपनी से प्राप्त मोबाईल नंबर में व्हाटसऐप काॅल कर कर कहा कि मैं इस समय एक जरूरी मीटिंग में व्यस्त हूं, व्हाटसऐप मैसेज में बात करो। इसी दौरान मोबाईल नंबर के अज्ञात धारक द्वारा किसी बिजनेस टास्क को पूर्ण करना है कहकर प्रार्थी को अपने झांसे में लेते हुए अलग – अलग किश्तों में प्रार्थी से कुल 5,50,000/- रूपये अमेजन ई व्हाउचर में खर्च कराया।

इसके बाद प्रार्थी द्वारा गोपाल प्रसाद अग्रवाल को काॅल करने का प्रयास करने पर व्यस्तता बता कर व्हाटसऐप पर ही मैसेज करने कहा गया कुछ देर बाद प्रार्थी ने मैसेज किया कि सर पैसे खत्म हो गये है जिस पर जबाब में कहीं अन्य से व्यवस्था करने की बात कहीं गयी कि प्रार्थी को संदेह होने पर दिनांक 16.07.2022 को प्रार्थी द्वारा द्वारा कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर गोपाल प्रसाद अग्रवाल को फोन पर संपर्क करने पर पुष्टि हुई कि इस प्रकार का कोई मैसेज उनके द्वारा नहीं भेजा गया है। मोबाइल नंबर 9392313213 के अज्ञात धारक ने प्रार्थी को अपने झांसे में लेते हुए प्रार्थी से 5,50,000/- रूपये की ठगी किया गया। जिस पर अज्ञात आरोपी के विरूद्ध थाना पंडरी में अपराध क्रमांक 240/22 धारा 420 भादवि. का अपराध पंजीबद्ध किया गया।

व्हाटसएप के डीपी में फोटो लगाकर लाखों रूपये ठगी की पहली घटना को वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रायपुर प्रशांत अग्रवाल द्वारा गंभीरता से लेते हुये अज्ञात सायबर अपराधी की पतासाजी कर जल्द से जल्द गिरफ्तार करने हेतु अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक शहर  सुखनंदन राठौर एवं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अपराध  अभिषेक माहेश्वरी को निर्देशित किया गया। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अपराध के निर्देशन में ए.सी.सी.यू. की विशेष टीम गठित कर घटना के सभी पहलुओं का तकनीकी रूप से जांच करते हुए अज्ञात आरोपी की गिरफ्तारी के लिए मोबाईल नंबर्स तथा ट्रांजक्शन हिस्ट्री प्राप्त किया गया तथा अज्ञात आरोपी को तमिलनाडू के तन्जाबूर में चिन्हांकित किया गया। विवेचना में प्राप्त जानकारी को वरिष्ठ अधिकारियों को सूचित कर तत्काल विशेष टीम तमिलनाडू हेतु रवाना किया गया।

05 सदस्यीय टीम तमिलनाडू के तन्जाबूर पहुंचकर वहां पर प्राप्त मोबाईल नंबरों के लोकेशन के आधार पर लगातार कैम्प करते हुए आरोपी के संबंध में जानकारियां जुटाना प्रारंभ किये तथा आरोपी की पहचान मोहम्मद अरसाथ अब्दुल राशीद के रूप में करते हुए टीम के सदस्यों द्वारा आरोपी मोहम्मद अरसाथ अब्दुल राशीद को पकड़ा गया। घटना के संबंध में कड़ाई से पूछताछ करने पर आरोपी द्वारा ठगी की उक्त घटना को कारित करना स्वीकार किया गया। आरोपी को गिरफ्तार कर उसके कब्जे से घटना से संबंधित 01 नग वन प्लस कम्पनी का मोबाईल फोन, 01 नग एच.पी. कम्पनी का लैपटाॅप एवं 01 नग एम.आई. कम्पनी का राउटर जप्त कर आरोपी का विधिवत् ट्रांजिट रिमाण्ड लेकर रायपुर लाकर कार्यवाही की गई।

आरोपी मोहम्मद अरसाथ अब्दुल राशीद मूलतः तन्जाबुर तामिलनाडू का निवासी है तथा चाईना से एमबीबीएस की पढ़ाई किया है। आरोपी के खातों की जांच की जा रहीं है। 

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