पॉलिटिकल

विधायक शैलेष पांडेय की मुराद मुख्यमंत्री ने की पूरी ….महापौर, अध्यक्ष और पार्षद निधि डेढ़ गुना बढ़ी, मानदेय भी बढ़ा….सदन में विधायक ने किया था मुख्यमंत्री से अनुरोध…. मांगे पूरी होने पर जताया आभार

बिलासपुर 31 मार्च 2022। बिलासपुर विधायक शैलेष पांडेय ने विधानसभा में मुख्यमंत्री से जो मांग रखी थी, वो पूरी हो गयी। विधायक ने बजट सत्र के दौरान अनुदान मांगों पर चर्चा करते हुए महापौर, सभापति, नगरपालिका अध्यक्षों, नगर पंचायत अध्यक्षों व पार्षदों का मानदेय बढ़ाने और पार्षद निधि बढ़ाने का अनुरोध किया था। आज मुख्यमंत्री ने सभी महापौर, सभापति, नगर पालिका एवं नगर पंचायतों के अध्यक्ष,  उपाध्यक्ष एवं सभी पार्षदों के मानदेय को भी दोगुना करने का ऐलान किया है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के महापौर, सभापति, पार्षदों के मानदेय दोगुना करने तथा महापौर, पार्षद निधि डेढ़ गुणा करने की घोषणा पर विधायक शैलेश पांडे ने आभार जताया है। विधायक ने कहा है कि पार्षदों के कामकाज में कसावट आएगी, वहीं पार्षद निधि बढ़ाए जाने से वार्डों में अब ज्यादा विकास के काम हो सकेंगे।

सदन में विधायक शैलेष पांडेय ने मांग की थी कि जिस प्रकार जिला पंचायत, जनपद पंचायतों में सदस्यों के मानदेय में प्रदेश सरकार ने बढ़ोतरी की है, उसी तर्ज पर महापौर, सभापति, नगर पालिका व नगर पंचायत अध्यक्षों एवं पार्षदों का भी मानदेय बढ़ाया जाना चाहिये। साथ ही सदन में पार्षद निधि बढ़ाने की भी मांग की गयी थी। विधायक शैलेश पांडे ने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल, नगरीय प्रशासन मंत्री डहरिया एवं जिले के प्रभारी मंत्री के प्रति आभार जताते हुए कहा है कि इस घोषणा के बाद शहर के 70 वार्डों खासकर बिलासपुर विधानसभा क्षेत्र के 38 वार्डों में पार्षद निधि से मूलभूत समस्याओं का निराकरण भी होगा एवं जनता के सामने अब पार्षद विकास का काम ज्यादा करवा भी सकेंगे।

विधायक शैलेश पांडे ने कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के इस ऐलान ने पार्षदों में ऊर्जा भर दी है। दलगत राजनीति से हटकर अब सभी पार्षदों को बढ़ा हुआ मानदेय भी मिलेगा और पार्षद निधि से सभी वार्डों में समान रूप से काम भी होंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने जनप्रतिनिधियों का सम्मान करते हुए बड़ा फैसला लिया है। भाजपा शासनकाल में पार्षदों का मानदेय नहीं बढ़ाया गया था। पिछले 10 सालों से नगर निकायों के पार्षद मानदेय बढ़ाने तथा पार्षद निधि बढ़ाने की मांग कर रहे थे। कांग्रेस सरकार ने जनप्रतिनिधियों की भावनाओं का सम्मान करते हुए ना सिर्फ उनका मानदेय बढ़ाया है, बल्कि उन्हें जनता के प्रति जवाबदेह भी बनाया है।

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