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प्रोफेसर मंच पर गए और अपने स्वास्थ्य का रखिये ख्याल ..इतना बोलते ही गिर पड़े ,चली गई जान..

कानपुर23 दिसंबर 2023| IIT कानपुर के वरिष्ठ प्रोफेसर समीर खांडेकर (55) का शुक्रवार को दिल का दौरा पड़ने से शुक्रवार को निधन हो गया। वह आईआईटी कानपुर सभागार में एक कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने जैसे ही मंच से कहा कि अपनी सेहत का रखें ध्यान…तभी अचानक उनके सीने में तेज दर्द उठा, चेहरा और शरीर पसीने से नहा गया और वह अचानक गिर पड़े। आईआईटी कानपुर के अन्य प्रोफेसर व कर्मी जब प्रो.खांडेकर को लेकर कार्डियोलॉजी अस्पताल पहुंचे तो वहां चिकित्सकों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। बताया जाता है 2019 में उन्हें कोलेस्ट्राल की समस्या हुई थी, इसे लेकर उनका इलाज चल रहा था।

आईआईटी के प्रशासनिक अफसरों ने बताया कि वह पूरी तरह से स्वस्थ थे लेकिन, अचानक ही उनकी मौत की खबर ने सभी को चौंका दिया है। प्रो.समीर खांडेकर के पास डीन आफ स्टूडेंट अफेयर की भी जिम्मेदारी थी। प्रो.समीर खांडेकर के निधन पर आईआईटी के कई वरिष्ठ प्रोफेसरों संग केंद्र सरकार के सचिव व पूर्व निदेशक प्रो.अभय करंदीकर ने भी दु:ख जताया हे।

अच्छी सेहत पर दे रहे थे लेक्चर

प्रोफेसर खांडेकर शुक्रवार को आईआईटी के ऑडिटोरियम में एलुमनाई मीट के कार्यक्रम में संबोधित कर रहे थे और अच्छी सेहत के विषय में बात कर रहे थे. उनके आखिरी शब्द थे कि अपनी सेहत का ध्यान रखो और यह कहते ही उन्हें अचानक दर्द हुआ और कुछ देर बाद वह बैठ गए. लोगों को लगा वह वह भावुक हो रहे हैं कोई कुछ समझ नहीं पाया. उनका चेहरा पसीना-पसीना हो गया और प्रोफेसर वहीं बेहोश हो गए.

उनका बेटा कैंब्रिज यूनिवर्सिटी में पड़ता है.प्रोफेसर खांडेकर के करीबी लोगों का कहना है कि बेटे के आने के बाद ही अंतिम संस्कार किया जाएगा.प्रोफेसर समीर खांडेकर की उम्र 55 साल थी, परिवार में माता-पिता के अलावा पत्नी और एक बेटा है. उनका जन्म जबलपुर में हुआ, आईआईटी कानपुर से ही बीटेक किया है जिसके बाद में जर्मनी पीएचडी करने गए.

2004 में उन्होंने आईटी कानपुर में असिस्टेंट प्रोफेसर के रूप में ज्वाइन किया जिसके बाद वह एसोसिएट प्रोफेसर फिर मैकेनिकल डिपार्टमेंट के विभाग अध्यक्ष और फिर स्टूडेंट वेलफेयर डीन बने. उनके नाम पर 8 पेटेंट भी है. जानकारी के मुताबिक 2019 में प्रोफेसर को कोलेस्ट्रॉल की बीमारी हुई थी जिसके बाद उनकी लगातार दवाई चल रही थी. फिलहाल प्रोफेसर की मौत से पूरा आईआईटी कानपुर मैनेजमेंट स्तब्ध है.

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