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शिक्षक मोर्चा की मांगों पर संसदीय सचिव ने लिखा मुख्यमंत्री को पत्र… सौंपे गये ज्ञापन पर कार्रवाई करने का किया अनुरोध

रायपुर 15 फरवरी 2023। पूर्व सेवा गणना शिक्षक मोर्चा के चरणबद्ध आंदोलन के पहले ही चरण के आंदोलन का असर दिखने लगा है। संसदीय सचिव विनोद सेवनलाल चंद्राकर ने मोर्चा की मांगों का समर्थन करते हुए मुख्यमंत्री को पत्र लिखाया है। संसदीय सचिव ने पत्र में अनुरोध करते हुए लिखा है कि पूर्व सेवा गणना शिक्षक मोर्चा की मांगों पर राज्य सरकार कार्रवाई करे। आपको बता दें कि प्रदेश के चार शिक्षक संगठन संयुक्त शिक्षक संघ, टीचर्स एसोसिएशन, शालेय शिक्षक संघ और नवीन शिक्षक संघ ने शिक्षकों की अलग-अलग मांगों को लेकर पूर्व सेवा गणना शिक्षक मोर्चा का गठन किया गया है।

14 फरवरी से मोर्चा के चरण बद्ध आंदोलन का आगाज हुआ था। 14 फरवरी को प्रदेश भर में मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा गया था। उसके बाद विधायकों और संसदीय सचिवों को भी ज्ञापन सौंपा गया था। संसदीय सचिव विनोद सेवनलाल चंद्राकर को भी महासमुंद में मोर्चा के जिला संयोजक की तरफ से ज्ञापन सौंपा गया था। जिसके बाद पूर्व सेवा गणना शिक्षक मोर्चा को महासमुंद विधायक व संसदीय सचिव विनोद चंद्राकर ने अपना समर्थन दिया है। मोर्चा ने 15 से 19 फरवरी के बीच विधायकों को ज्ञापन देने के क्रम में जिला महासमुंद के मोर्चा के पदाधिकारी रूपानंद पटेल, नरोत्तम चौधरी, विजय घृतलहरे, नीलांबर नायक आदि की टीम महासमुंद के विधायक व संसदीय सचिव विनोद चंद्राकर से मिलकर शिक्षक एलबी संवर्ग को प्रथम नियुक्ति तिथि से सेवा की गणना कर पुरानी पेंशन, क्रमोन्नति प्रदान करने एवं सहायक शिक्षक के वेतन विसंगति को दूर करने आदि का मांग पत्र सौंपा।

जिस पर विधायक ने समर्थन देते हुए इस आशय का पत्र माननीय मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी को प्रेषित कर मांगों को पूरी करने का उल्लेख किया हैं।

क्या है मोर्चा की मांग

ज्ञापन प्रेषित कर एलबी संवर्ग के शिक्षकों को उनके शिक्षाकर्मी/शिक्षक पंचायत के पद पर प्रथम नियुक्ति तिथि से सेवा की गणना कर पुरानी पेंशन प्रदान करने, 33 वर्ष के पेंशन की अहर्ता को केंद्र के समान 20 वर्ष करने, सहायक शिक्षक के वेतन विसंगति को दूर करने, पुर्व सेवा गणना एवं जन घोषणा पत्र के आधार पर क्रमोन्नत वेतनमान प्रदान करने, NPS/OPS के अव्यवहारिक विकल्प फार्म एवं शपथ पत्र पर तत्काल प्रभाव से रोक लगाकर इसमें वृद्धि करने का मांग किया गया है।

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