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हड़ताली कर्मचारियों पर कार्रवाई से बीजेपी भड़की, कहा- कार्रवाई के बजाय कर्मचारियों की मांगों को पूरा करे सरकार

रायपुर 9 जुलाई 2023। भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश महामंत्री विजय शर्मा ने प्रदेशभर में अधिकारियों और कर्मचारियों की चल रही हड़ताल को लेकर प्रदेश सरकार के संवेदनहीन रवैए की कड़ी आलोचना की है। विजय शर्मा ने कहा कि पिछले विधानसभा चुनाव में किए गए वादे अब तक पूरा नहीं करने वाली प्रदेश की कांग्रेस सरकार का पूरा शासनकाल हड़ताल और प्रदर्शनों में बीत गया। प्रदेश सरकार की इसी संवेदनहीनता ने आज प्रदेश के सारे कार्यों को ठप कर रखा है और जरूरतमंदों को अकारण परेशानी उठानी पड़ रही है।

भाजपा प्रदेश महामंत्री श्री शर्मा ने कहा कि छत्तीसगढ़ अधिकारी-कर्मचारी महासंघ से संबद्ध 25 हजार अफसर-कर्मियों की हड़ताल से शुक्रवार को 52 विभागों में कामकाज ठप रहा। इसके चलते न तो दफ्तर खुले, न रोजगार कार्यालय में पंजीयन का काम हुआ और न ही जाति, निवास और आय प्रमाण पत्र बने। इससे पहले लगभग एक सप्ताह से संविदा कर्मचारी अपने नियमितीकरण की मांग को लेकर हड़ताल पर हैं। लगभग इसी के आसपास संविदा व स्वास्थ्य कर्मचारी भी हड़ताल पर चले गए हैं। इन कर्मचारियों के साथ बातचीत करके उनकी न्यायोचित मांगों को पूरा करने की प्रदेश सरकार की कोई मंशा नजर नहीं आ रही है। विजय शर्मा ने कहा कि प्रदेश सरकार की हालिया कैबिनेट बैठक में इन अधिकारियों व कर्मचारियों को अपना हक मिलने की जो उम्मीद बंधी थी, वह भी प्रदेश सरकार के सियासी पाखण्ड के बियाबान में दम तोड़ गई। केंद्र सरकार के समान प्रदेश में महंगाई भत्ता आदि देने के मामले में प्रेदश सरकार ने महज पांच फीसदी की बढ़ोतरी करके झुनझुना थमाने का कृत्य किया है।

भाजपा प्रदेश महामंत्री विजय शर्मा ने कहा कि स्वास्थ्य कर्मचारियों की हड़ताल के चलते स्वास्थ्य केन्द्रों और अस्पतालों में मरीजों को भटकना पड़ रहा है। पिछली चार जुलाई से संविदा और स्वास्थ्य कर्मचारियों की हड़ताल के कारण स्वास्थ्य सेवाएं बुरी तरह प्रभावित हुई हैं।  विजय शर्मा ने कहा कि प्रदेशभर में कर्मचारी कांग्रेस सरकार की वादाखिलाफी और कुनीतियों से आजिज आ चुके हैं। प्रदेश सरकार की वादाखिलाफी से त्रस्त कर्मचारियों को अपने अधिकारों और प्रदेश सरकार को उसके वादों की याद दिलाने के लिए अब सड़क पर उतरना पड़ रहा है। अनियमित कर्मचारी महासंघ और 45 हजार संविदा कर्मी नियमितीकरण की मांग को लेकर हड़ताल पर हैं वहीं 40 हजार स्वास्थ्य कर्मचारी अपनी लंबित 24 सूत्रीय मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे हैं। विजय शर्मा ने कहा कि पूरे प्रदेश के 6 लाख कर्मचारी डीए व एचआर को लेकर काफी रुष्ट हैं। पूर्ववर्ती भाजपा शासनकाल में केंद्र सरकार द्वारा घोषित डीए व एचआर तत्काल प्रदेश में भी लागू होता था, जबकि कांग्रेस शासनकाल में डीए  और एचआर की राशि कम कर दी जा रही है ।

भाजपा प्रदेश महामंत्री विजय शर्मा ने कहा कि प्रदेश का कोई वर्ग ऐसा नहीं बचा जो प्रदेश सरकार की वादाखिलाफी से त्रस्त होकर अपने हक के लिए सड़क पर उतरने को विवश न हुआ हो। अपने हक की लड़ाई लड़ने वालों पर प्रदेश सरकार की पुलिस ने तमाम तरह के जुल्म ढाए। प्रदेश सरकार अपने खिलाफ उठ रही आवाज को रोकने के तमाम हथकंडे अपना रही है ताकि प्रदेश की जनता कांग्रेस के कुशासन से वाकिफ न हो सके। विजय शर्मा ने कहा कि अभी कुछ दिनों पूर्व प्रदेशभर के पटवारी भी आंदोलन पर थे, जिसके चलते राजस्व तथा दीगर कार्यों के निपटारे में काफी दिक्कतें हुई। विजय शर्मा ने कहा कि कांग्रेस के सब्जबाग और झूठे वादों के चक्कर में फँसकर सभी वर्ग के कर्मचारियों की स्थिति बुरी हो गई है। प्रदेश सरकार ने छत्तीसगढ़ को कंगाल बना डाला है और अब दमन की राजनीति करके अपनी नाकामियों पर पर्दा डाल रही है। प्रदेश सरकार के ही एक मंत्री ने यह स्वीकार भी किया था कि हमारी अब आर्थिक हैसियत नहीं है कि हम सबकी मांगें पूरी कर सकें।

भाजपा प्रदेश महामंत्री विजय शर्मा ने कहा कि ये तमाम हड़तालें पूर्व घोषित थीं। प्रदेश सरकार को पता था कि इससे सारे कामकाज प्रभावित होंगे, लेकिन बावजूद इसे प्रदेश सरकार ने उनकी न्यायोचित मांगों को पूरा करके हड़तालों को रोकने की कोई सकारात्मक पहल नहीं की।  विजय शर्मा ने कहा कि अपनी वादाखिलाफी का दण्ड प्रदेश सरकार लोगों को न दे, अन्यथा पूरा प्रदेश एकजुट होकर कांग्रेस सरकार को अपना राजनीतिक वजूद बचाने तक का मौका नहीं देगा। इसलिए राजनीतिक छल प्रपंच और संवेदनहीनता छोड़कर प्रदेश सरकार तत्काल कर्मचारी संगठनों से चर्चा करके उनकी मांगों का समाधानकारक रास्ता निकाले और अपने वादों को पूरा करके सभी अफसरों, कर्मचारियों के साथ न्याय करे क्योंकि कर्मचारियों की हड़ताल से अंततः प्रदेश की जनता ही परेशान होती है।

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