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पूर्व डिप्टी CM को लगा बड़ा झटका: अब CBI कस्टडी में मनेगी सिसोदिया की होली, कोर्ट से नही मिली जमानत,अब 10 मार्च को होगी ……

दिल्ली 4 मार्च 2023। दिल्ली के पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया को कोर्ट से बड़ा झटका लगा है। कोर्ट ने सिसोदिया की जमानत अर्जी पर फैसला सुरक्षित रखते हुए अब 10 मार्च को कोर्ट अगली सुनवाई करेगीं। वहीं कोर्ट में सीबीआई ने अफसरों ने रिमांड की तारीख बढ़ाने के लिए जांच में सिसोदिया के सहयोग नही देने की दलील दी हैं। कोर्ट के इस फैसले के बाद अब पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया की होली सीबीआई कस्टडी में ही बीतेगी। गौरतलब हैं कि दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट में आज पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया को पेश किया गया। कोर्ट ने सिसोदिया की जमानत अर्जी पर सुनवाई की, सुनवाई के दौरान कोर्ट ने जमानत पर फैसला सुरक्षित रख लिया। कोर्ट अब 10 मार्च को अगली सुनवाई करेगी। वहीं सीबीआई रिमांड पर कोर्ट का फैसला आना अभी बाकी है।

सीबीआई ने कोर्ट में कहा कि मनीष सिसोदिया जांच में सहयोग नहीं कर रहे हैं। इसलिए तीन दिन की और रिमांड दी जाए। सीबीआई ने कोर्ट को बताया कि सिसोदिया से पूछताछ की रिकॉर्डिंग सीडी में है। पूछताछ के लिए अभी आरोपियों का आमना-सामना नहीं हुआ है। सीबीआई ने कोर्ट को बताया कि केस के दस्तावेजों की जानकारी सिसोदिया ने नहीं दी है। अभी आरोपियों से आमना-सामना होना बाकी है। इस पर कोर्ट ने कहा कि किससे आमाना सामना कराना चाह रहे हैं, सीबीआई ने कहा कि अभी कुछ अधिकारियों से मनीष का आमना-सामना करवाया गया है। सीबीआई ने कोर्ट को जानकारी दी कि पूरे पूछताछ की रिकॉर्डिंग सीडी में है।

उसे कोर्ट में दिखाया नही जा सकता हैं। वहीं कोर्ट ने पूछा कि कितने घंटे पूछताछ हुई, तब सीबीआई ने बताया कि रोज आठ घंटे पूछताछ होती है।जांच में सहयोग न करना रिमांड का कोई आधार नहीं,वहीं जज ने सीबीआई से सिसोदिया के केस की डायरी मांगी है। सिसोदिया के वकील ने कहा कि जांच में सहयोग न करना रिमांड का कोई आधार नहीं है। सीबीआई के दावे झूठे हैं। मनीष सिसोदिया के वकील ऋषिकेश ने बताया कि विशेष न्यायाधीश एम के नागपाल की कोर्ट में यह आवेदन दिया गया है, जिन्होंने शनिवार के लिए सुनवाई तय की है।

आपको बता दे कि सीबीआई ने अब रद्द की जा चुकी साल 2021-22 की आबकारी नीति बनाने एवं उसे लागू करने में कथित भ्रष्टाचार के सिलसिले में बीते रविवार को पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया को गिरफ्तार किया था। सीबीआई के अनुसार गिरफ्तार करने से पहले सिसोदिया से आठ घंटे तक पूछताछ की गई थी। लेकिन उनके जवाब कथित रूप से संतोषजनक नहीं पाए गए थे। कोर्ट ने 27 फरवरी को सिसोदिया को सीबीआई हिरासत में भेज दिया था। ताकि जांच एजेंसी उपयुक्त एवं निष्पक्ष जांच के लिए उनके सामने रखे जाने वाले सवालों का वास्तविक एवं वैध उत्तर प्राप्त कर सके। न्यायाधीश ने कहा था कि आरोपी पहले दो बार जांच में शामिल हुए, लेकिन यह देखा गया कि उनसे जो सवाल किए गए। उन्होंने उसके संतोषजनक जवाब नहीं दिए।

अदालत ने कहा था कि अब तक की जांच के दौरान जो अभियोजन योग्य साक्ष्य कथित रूप से सामने आए हैं। उनके बारे में आरोपी वैध ढंग से सफाई देने में नाकाम रहेण्। न्यायाधीश ने कहा कि यह सच है कि ऐसी आशा नहीं की जा सकती है कि वह कुछ ऐसा बयान देंगे, जिससे वह फंस जाएं। लेकिन न्याय एवं निष्पक्ष जांच के हित में यह जरूरी है कि उनसे जांच अधिकारी जो सवाल कर रहे हैं, उनका वह कुछ वैध जवाब दें। वहीं आज पेशी के दौरान सिसोदिया की जमानत अर्जी पर भी सुनवाई होगी। हालांकि सीबीआई सिसोदिया की रिमांड बढ़ाने की मांग करेगी। सूत्र बताते हैं कि सिसोदिया ने अभी कुछ सवालों का जवाब नहीं दिया है। इन्हीं सवालों के जवाब के लिए सीबीआई कोर्ट से सिसोदिया की रिमांड की मांग करेगी।

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