CG NEWS : जब बीच बैठक में कलेक्टर संजीव झा ने कहा : अमृत आप पीयेंगे और विष यहां के लोग….ऐसा नही होगा,आप अपना काम नही करेंगे… तो हमको अपना काम पता हैं !
कोरबा 29 नवंबर 2022। पर्यावरण संरक्षण और पॉवर प्लांटो की मनमानी पर कलेक्टर संजीव झा मंगलवार को एक्शन में नजर आये। कलेक्टोरेट में हुए समीक्षा बैठक में कलेक्टर ने ऐश यूटिलाइजेशन और परिवहन के मुद्दे पर गहरी नाराजगी जताते हुए अफसरों को चेताते हुए कहा कि अमृत आप पीयेंगे और विष कोरबा के लोगों के लिए फेंक देंगे……ऐसा नही चलेगा। शहर में कही भी किसी की जमीन पर अगर बिना अनुमति के राख डंप किया, तो अब खैर नही होगी। ऐसे लोगों के खिलाफ अब FIR दर्ज करायी जायेगी। कलेक्टर यहीं नही रूके उन्होने बालको प्रबंधन पर भी गहरी नाराजगी जताते हुए जमकर फटकार लगायी। कलेक्टर संजीव झा के इस तेवर को देखने के बाद पॉवर प्लांट के अफसरों के बीच हड़कंप मचा हुआ हैं।
गौरतलब हैं कि कोरबा जिला की पहचान पॉवर हब के रूप में की जाती हैं। लेकिन इसी कोरबा जिला को सर्वाधिक प्रदूषित शहरों के रूप में भी पहचाना जाता हैं। पॉवर प्लांटों से होने वाले प्रदूषण के साथ ही संयत्र से निकलने वाले राख की उपयोगिता को लेकर कलेक्टर संजीव झा ने मंगलवार को कलेक्टोरेट में समीक्षा बैठक ली गयी।। इस बैठक में पर्यावरण विभाग,एनटीपीसी, बालकों, लैंको, सीएसईबी के अफसर मौजूद रहे। बैठक शुरू होते ही सबसे पहले कलेक्टर संजीव झा ने एक-एक कर अधिकारियों से उनके संयंत्रों से निकलने वाले राख और उसकी उपयोगिता की जानकारी ली। अफसरों ने भी कागजी आकड़े बताकर अपने कर्तव्यों की जानकारी प्रशासन के समक्ष रख दी।
लेकिन इसके बाद जब कलेक्टर ने जमीनी हकीकत जानना शुरू किया तो अधिकारियों के पसीने छूटने लगे। फ्लाई ऐश यूटिलाईजेशन के सवाल पर कलेक्टर ने साफ किया कि एसईसीएल की खदान और सड़को के निर्माण में ऐश सप्लाई कर आप अपने दायित्वों से नही बच सकते। अगर संयंत्र से राख निकल रहा है, तो उसके सत प्रतिशत निपटारे की जिम्मेंदारी भी आपकी ही हैं। कलेक्टर संजीव झा ने बैठक में साफ किया कि ऐसा बिल्कुल भी बर्दाश्त नही किया जायेगा कि आप अमृत पीयेंगे और विष कोरबा के लोगों के लिए फेंक देंगेे। कलेक्टर ने पॉवर प्लांट के अफसरों को सुझाव देते हुए बताया कि ऐश यूटिलाइजेशन के लिए भू-विस्थापितों को फ्लाई ऐश ब्रिक्स का यूनिट लगाकर दिया जाना चाहिए। जिससे राख की उपयोगिता के साथ ही प्रभावित लोगों को रोजगार के अवसर दिये जा सके।
समीक्षा बैठक में कलेक्टर ने अफसरों को साफ कर दिया कि पॉवर प्लांटो के संचालन और ऐश परिवहन से सड़के खराब होंगी तो उसका मेंटनेस भी उन्हे ही करना होगा। कलेक्टर ने दो टूक लहजे में कह दिया कि अगर आप अपना काम नही करेंगें ,तो हमको अपना काम आता हैं। पॉवर पलांट के अफसर जो कागजों में आकड़ो की बाजीगिरी कर हमेशा अपना पक्ष रखकर बच जाया करते थे, ऐसे अफसरों के बीच कलेक्टर संजीव झा के सख्त तेवर को देख हड़कंप मचा हुआ हैं।
ऐश परिवहन से एक भी सड़क खराब हुई तो…..
बैठक में कलेक्टर संजीव झा ने पॉवर प्लांट के अफसरों को दो टूक कह दिया कि अगर शहर की सड़को पर आपकी गाड़ियां 40 टन राख लेकर चलेंगी, तो उन सड़को का मेंटेनेंस भी आपको ही करना होगा। कलेक्टर ने पॉवर प्लांट से परिवहन होने वाले फ्लाई ऐश के रूट को फायनल कर उन मार्गों के सतत मेंटेनेंस की जिम्मेदारी संयंत्रों को कराने का सख्त निर्देश दिया हैं। कलेक्टर ने साफ किया कि अगर राख परिवहन से सड़के खराब हुई और सड़क का मेंटेनेंस नही किया तो एक भी गाड़ी सड़क पर चलने नही दी जायेगी। वही राख का परिवहन त्रिपाल से ढक कर करने के साथ ही राख उड़ने वाले स्थानों पर पर्याप्त मात्रा में पानी के छिड़काव की व्यवस्था भी प्रबंधन की होगी। जिसे तत्काल प्रभाव से शुरू किया जाये।
बालकों की कागजी कार्रवाई पर भड़के कलेक्टर, कहा 5 महीने से आप लोग…..
संयंत्रों से निकलने वाले राख की उपयोगिता के साथ ही राख पाटने के साथ ही उन स्थानों पर मिट्टी फिलिंग कर वहां मेलिया दुबिया के प्लांटेशन का निर्देश दिया गया था। इस मुुद्दे पर जब कलेक्टर संजीव झा ने अफसरों से जानकारी लिया गया, तब अफसर बगले झांकने लगे। इसी बीच कलेक्टर ने बालकों प्रबंधन के अफसरों से ऐश फिलिंग वाले स्थान पर मेलिया-दुबिया प्लांटेशन की जानकारी मांग ली। अफसर फाइन पूरी होने की बात कहकर गोलमोल जवाब देते, इतने में ही कलेक्टर संजीव झा ने अफसरों को फटकार लगाते हुए कह दिया कि पिछले 5 महीने से आप लोग प्लांटेशन कर ही रहे हैं। मानसून में प्लांटेशन होना था, लेकिन आप लोग फाइलों तक ही सीमित हैं। ऐसा बिल्कुल भी बर्दाश्त नही किया जायेगा। यदि हवा चलने पर राखड़ उड़ा तो खैर नही होगा।
जब कलेक्टर ने कहा हमको ऐसा R.O. नही चाहिए जिसके रहते……
बिजली संयंत्रों की बैठक के दौरान कलेक्टर संजीव झा ने क्षेत्रीय पर्यावरण अधिकारी पर भी जमकर नाराज हुए। उन्होने बीच बैठक में दो टूक शब्दों में ये कह दिया कि हमको ऐसा R.O. नही चाहिए, जिसके रहते हुए आंधी-तूफान की तरह ऐश उड़ता रहे। हम ऐसे लोगों को बिल्कुल भी बर्दाश्त नही करेंगे, जो पर्यावरण के साथ हो रहे खिलवाड़ को देखकर भी अनदेखा करेंगे।